MNREGA/मनरेगा मतलब महात्मा गाँधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम, वर्तमान समय में ग्रामीण क्षेत्रों में इतना लोकप्रिय सरकारी योजना है कि कई घरों का रोज़ी-रोटी इससे चलता है; जो लोग कोई हुनर न होने की वजह से बेरोज़गार थे, उन्हें काम मिल रहा है और थोड़ी आमदनी हो रही है। आज हम इसी के बारे में विस्तार से बात करेंगे कि MGNREGA Kya Hai? मनरेगा में रोजगार कैसे मिलेगा?
आपमें से काफ़ी लोग इसे NREGA/नरेगा के नाम से भी जानते होंगे, क्योंकि पहले इसका नाम यही था। बाद में इसमें महात्मा गाँधी जोड़ा गया है, जिससे यह MGNREGA/मनरेगा बन गया है। काम वही है, लोगों को साल में कम-से-कम 100 दिन का रोजगार देना। इस प्रकार यह ग्रामीण विकास के क्षेत्र में काफ़ी अच्छा काम कर रही है।
MGNREGA Kya Hai?
मनरेगा एक सरकारी योजना है जिसके तहत ग्रामीण क्षेत्र के ऐसे लोगों को साल में न्यूनतम 100 दिनों की रोजगार की गारंटी दी जाती है जिनके पास कोई ऐसा खास हुनर नहीं है, यानी ये unskilled labour हैं जो सिर्फ manual work कर सकते हैं।
रोजगार दिया तो जाता ही है, लेकिन काम करना होता है सड़कें, नहरें, तालाब और कुएँ बनाने में। इस प्रकार बेरोज़गार लोगों को रोजगार भी मिलता है और ग्रामीण क्षेत्रों का विकास भी होता है।
MGNREGA Full Form in Hindi
मनरेगा का full form ‘महात्मा गाँधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम’ होता है, जो (NREGA) National Rural Employment Guarantee Act, 2005 के नाम से एक labour law के रूप में स्थापित किया गया है। और इस right to work कानून में ‘Mahatma Gandhi’ का नाम बाद में जोड़ा गया है, और इस तरह से यह MGNREGA बन गया।
मनरेगा में रोजगार कैसे मिलेगा?
ग्रामीण क्षेत्रों में ग़रीबी निवारण के अंतर्गत कई वर्षों से मनरेगा कार्यक्रम संचालित हो रहा है।
- इसके अंतर्गत वर्ष में कम-से-कम एक सौ दिन परिवार के कम-से-कम एक सदस्य को कार्य करने के बदले दैनिक आधार पर पारिश्रमिक दिया जाएगा।
- इससे भुखमरी की नौबत में कर्मशील सदस्य परिवार को बचा सकेगा।
- यदि उसे अपने निवास से 5 किमी दूर कार्य करने को कहा जाएगा तो उसे मार्ग व्यय भी दिया जाएगा।
- यदि गाँव में काम नहीं होगा तो उसे बेरोज़गारी भत्ता दिया जाएगा।
- इस कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य गाँव में रोजगार के साथ-साथ श्रमिक शक्ति का भी उत्पादन करने की योजना है ताकि विकास के कार्यक्रमों में पुल, सड़क, पुलिया, तालाब, नहर आदि बनाए जा सकें।
- मुख्यतः इससे भूमिहीन किसानों और अतिवृष्टि, सूखा और अन्य प्राकृतिक आपदाओं के समय ग्रामीणों को रोजगार देकर उनके जीवन में किंचित ख़ुशहाली लायी जा सके।
अगर आप भी मनरेगा में काम करना चाहते हैं, तो आप अपने ग्राम पंचायत से सम्पर्क कर सकते हैं। इसके लिए आपको पहले job card बनाना होगा जो आपके बैंक खाते से लिंक रहेगा। उसके बाद आप जब भी काम करेंगे तो आपका पैसा DBT (Direct Benefit Transfer) के ज़रिए आपके खाते में आ जाएगा।
Conclusion: MGNREGA Kya Hai?
मनरेगा की पूरी जानकारी अब तो आपको मालूम चल ही गई होगी। MGNREGA की सबसे अच्छी बात यह है कि इस योजना में अकुशल श्रमिक को रोजगार दिया जाता है। इन कर्मियों में कम-से-कम एक-तिहाई महिलाएँ होनी चाहिए।
इसके साथ ही मनरेगा में केवल ग्राम पंचायत ही काम कर सकती है। कोई भी बिचौलिया यानी middlemen नहीं है, इससे आम लोगों को ज़्यादा परेशानी भी नहीं होती है। आपके जॉब कार्ड सम्बन्धी यदि कोई शिकायत है तो इसका समाधान भी ग्राम पंचायत करती है। यदि जनपद स्तर पर रोजगार उपलब्ध नहीं हैं और उसे दूर जाना पड़ता है, तो न्यूनतम मज़दूरी का 10% अतिरिक्त दिया जाता है। काम माँगने के 15 दिन के भीतर काम न मिलने पर बेरोज़गारी भत्ता दिया जाता है।
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